टिहरी झील पर बने डोबरा-चांठी पुल के खुलने का इंतजार खत्म

टिहरी: कोरियन कंसल्टेंट जैकी किम डोबरा-चांठी पुल पर लोड टेस्टिंग का कार्य करने पहुंचे. पुल पर लोड टेस्टिंग का कार्य 15 दिनों तक चलेगा. कोरिया कंसल्टेंट कंपनी के इंजीनियर जैकी किम के नेतृत्व में चांठी-डोबरा पुल पर लोड टेस्टिंग का काम शुरू हो गया है.  कोलकाता से टिहरी पहुंचे कोरियन कंसल्टेंट कंपनी के इंजीनियर जैकी किम के नेतृत्व में डोबरा-चांठी पुल पर लोड टेस्टिंग का काम शुरू हो गया है. पहले दिन किम के नेतृत्व में लोनिवि, निर्माण कंपनी के इंजीनियरों ने पुल की केबल क्लैंप, सस्पेंडर और टावरों का भौतिक सत्यापन किया. साथ-साथ टावरों के ऊपर चढ़कर हवा के दबाव को भी परखा. अगले 15 दिनों तक टीम लगातार लोड टेस्टिंग, विंड प्रेशर और एडजस्टमेंट के कार्यों को देखेगी.

15 दिनों तक चलेगा लोड टेस्टिंग का काम

लोनिवि के ईई और प्रोजेक्टर मैनेजर एसएस मखलोगा ने बताया कि टीम लगातार 15 दिनों तक पुल तकनीकी परीक्षण कर लोड टेस्टिंग करेगी. लोड टेस्टिंग में सफल रहने के बाद ही पुल के ऊपर वाहनों की आवाजाही शुरू हो सकेगी.

जिससे अब उम्मीद की जा रही है कि सालों से पुल निर्माण को लेकर टकटकी लगाए प्रतापनगर क्षेत्र के लोगों की मुरादें पूरी होंगी. पुल बनने से उन्हें जिला मुख्यालय सहित ऋषिकेश, हरिद्वार और देहरादून जाने में समय और रुपए की बचत होगी.

2006 में पुल का निर्माण कार्य शुरू हुआ था

टिहरी बांध प्रभावित क्षेत्र प्रतापनगर और उत्तरकाशी की गाजणा पट्टी की दो लाख की आबादी इस पुल पर आवागमन से लाभान्वित होगी. सरकार ने डोबरा-चांठी में झील के ऊपर 2006 में करीब 725 मीटर लंबे मोटरेबल सस्पेंशन पुल का निर्माण शुरू किया था. वर्तमान में मुख्य पुल का कार्य लगभग पूरा हो गया है, लेकिन पुल पर वाहनों की आवाजाही शुरू करवाने से पहले लोड टेस्टिंग का कार्य किया जा रहा है.

डोबरा-चांठी पुल की खासियत

डोबरा-चांठी पुल 440 मीटर सस्पेंशन ब्रिज है तथा 260 मीटर आरसीसी डोबरा साइड एवं 25 मीटर स्टील गार्डर चांठी साइड है. पुल की कुल चौड़ाई सात मीटर है. इसमें मोटर मार्ग की चौड़ाई 5.50 (साढ़े पांच) मीटर है जबकि फुटपाथ की चौड़ाई 0.75 मीटर है. फुटपाथ पुल के दोनों ओर बनाया जा रहा है.

इसके बनने से प्रतापनगर की 3 लाख से अधिक की आबादी को आने-जाने में राहत मिलेगी. साथ ही पुल में 20-20 टन के 24 रोप लगाए गए हैं. 5-5 मीटर के फासले पर झील की तरफ क्लैंप, सस्पेंडर किया गया है और 58-58 मीटर के चार टावर भी लगाए गए हैं. लिहाजा, पुल के दोनों ओर रोड के लिए चार करोड़ रुपये का रिवाइज इस्टीमेट भी शासन को भेजा गया है. इसके बाद वहां पर रोड और पार्किंग का निर्माण भी किया जाएगा. पुल के निर्माण में करीब 300 करोड़ रुपए खर्च हुए हैं.

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