नैनीताल: कुमाऊं विश्वविद्यालय में आज कार्य परिषद की 144वीं बैठक का आयोजन किया गया. इसकी अध्यक्षता विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर एनके जोशी के द्वारा की गई. इस दौरान कुलपति के द्वारा बताया गया कि कुमाऊं विश्वविद्यालय के सभी कॉलेजों और कैम्पसों को पूर्ण रूप से डिजिटल किया जा रहा है. ताकि आने वाले समय में छात्र-छात्राओं को इसका फायदा मिल सके और छात्र अपने शहरों और घरों से अपनी मार्कशीट और डिग्रियां निकाल सकें.
इस दौरान कुलपति प्रोफेसर एनके जोशी ने बताया कि आने वाले समय में नैक की टीम के द्वारा विश्वविद्यालय समेत सभी कॉलेजों और कैम्पसों का निरीक्षण किया जाना है. जिसको लेकर भी बैठक में चिंतन मंथन किया गया कि आखिर किस तरह से विश्वविद्यालय को ए प्लस (A+) श्रेणी में लाया जा सकता है.
वहीं कुमाऊं विश्वविद्यालय को अब दो हिस्सों में बांटे जाने के बाद विवाद की स्थिति देखने को मिल रही है. क्योंकि आज बैठक में कुमाऊं विश्वविद्यालय से अलग हुए एसएसजे विश्वविद्यालय के सदस्यों के बैठक में प्रतिभाग करने को लेकर कार्य परिषद के सदस्यों ने विरोध किया. सदस्यों ने कहा कि जब विश्वविद्यालय अलग हो चुका है तो उनके सदस्यों का कुमाऊं विश्वविद्यालय की बैठक में कोई औचित्य नहीं है. जिसके बाद कार्यपरिषद के सदस्य अरविंद पडियार के द्वारा बैठक का बहिष्कार कर दिया गया. इस दौरान अरविंद पडियार ने कहा कि बैठक नियम विरुद्ध तरीके से की जा रही है. जिसका कार्य परिषद के सदस्य बहिष्कार कर रहे हैं.