न्यूजीलैंड से स्वदेश लाया गया शिवम का शव, 15 बार सीने पर चाकू से किया था वार

रुड़की (नेटवर्क 10 संवाददाता ): न्यूजीलैंड में रुड़की के रहने वाले शिवम शर्मा की बीती 2 जून को कुछ अज्ञात लोगों ने हत्या कर दी थी. उनका शव आज सुबह रुड़की लाया गया. शव का दाह संस्कार रुड़की के मालवीय चौक स्थित श्मशान घाट पर किया गया. शिवम रुड़की के विख्यात साहित्यकार, शिक्षाविद् और साहित्य अकादमी के पूर्व सदस्य डॉ. योगेंद्र नाथ शर्मा ‘अरुण’ के पोते थे. शिवम न्यूजीलैंड में चिकित्सक के रूप में सेवाएं दे रहे थे.

बता दें कि 26 वर्षीय शिवम के शव को स्वदेश लाने में 16 दिन का समय लगा है. शिवम की न्यूजीलैंड में 2 जून को अज्ञात लोगों ने हत्या कर दी थी. हत्या की सूचना के बाद से ही शिवम के परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था. शहर के लोगों ने भी शिवम की हत्या पर संवेदनाएं व्यक्त की थीं.

शिवम को पूर्व में तत्कालीन राष्ट्रपति श्री प्रणब मुखर्जी ने फिजियोथेरेपी में गोल्ड मेडल प्रदान किया था. इसके उपरांत शिवम ने न्यूजीलैंड में एमपीटी और मास्टर ऑफ फिजियोथेरेपी की डिग्री हासिल की और वहीं नौकरी कर रहे थे. 2 जून को कुछ अज्ञात लोगों ने उनकी हत्या कर दी थी. शिवम का शव केंद्रीय मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक की कोशिशों से पोस्टमॉर्टम के बाद आज रुड़की लाया गया. रुड़की में शव का अंतिम संस्कार किया गया.

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